एक कण $\frac{20}{\pi}$ मीटर त्रिज्या वाले वृत्तीय यहा पर एक समान त्वरण से चलता है। यदि गति शुरू होने के बाद दूसरे चक्कर के खत्म होने पर कण का वेग $80$ मी/सेकंड है, तो इसका स्पर्शरखीय त्वरण ......... $\,m{s^{ - 2}}$ है |
$40$
$640\,\pi $
$160\,\pi $
$40\,\pi $
एक कण $P, a$ त्रिज्या के वृत्तीय पथ पर एक समान चाल $v$ से गति करता है। $C$ वृत्त का केन्द्र है तथा $AB$ इसका व्यास है। $B$ बिन्दु से जाते समय $P $ का $A$ तथा $C$ बिन्दु के परित: कोणीय वेग का अनुपात होगा
पृथ्वी की कोणीय चाल की गणना करो जबकि पृथ्वी अपने अक्ष के चारों ओर घूर्णन करती है ।
एक कण वृत्तीय गति कर रहा है। कण का त्वरण होगा
यदि वृत्ताकार पथ में गति करते हुए किसी पिंड (वस्तु) की चाल $10 \; ms ^{-1}$ है और यह अचर बनी रहती है तो, निम्नांकित में से कौनसा आलेख, त्वरण तथा त्रिज्या के बीच सम्बन्ध का ठीक (सही) चित्रण करता है ?
एक कण जो कि एकसमान वृत्तीय गति कर रहा है, के लिए औसत त्वरण सदिश होगा